चलाकबिल्ली
बहुत समय पहलेकी बात है|एक जंगल में एक बहुत बड़ा पेड़ था|इस पेड़ की शाखाओं पर बहुत सारेपक्षी रहा करतेथे|इस पेड़ की एक शाखा पर एक चिड़िया और एक कौवा भी रहतेथे|दोनों ने अपने अपने घोंसले बना रक्खेथे| एक दिन चिड़िया नेकौवेसे कहा नजदीक मेंही बहुत सारी फसल पक कर तयार हुई हैमेंउसकी दवात उड़ानेजा रही हूँ तुममेरेघर का ख्याल रखना|कौवेने कहा ठीक है|चिड़िया फुर्र सेउड़ गई| शाम को कौवा चिड़िया का इंतजार करता रहा पर चिड़िया नहींआई| धीरेधीरेकईदिन बीतने पर कौवेनेसोचा कि हो सकता है,चिड़िया को किसी ने पकड़लिया हो| कौवेको अब उमीदनहींथी कि चिड़िया वापस आ जाएगी| एक दिन एक सफ़ेदरंग का खरगोश वहां से जा रहा था तो उसकी नज़र उस खाली पड़े घोंसलेपर पड़ी|अन्दर जा कर देखा वहां कोई नहींथा| खरगोश को यह घर पसंद आगया और वह उसी घर मेंरहनेलगा|कौवे नेभी कोई एतराज नहींकिया| बहुत दिन बीतनेपर जबफसल ख़तमहोगईतो चिड़िया वापस अपनेघोंसलेमेंआई|यहाँ आकर उसनेदेखा कि उसके घर में एक सफ़ेद रंग का खरगोश रह रहा है| उसनेखरगोश से कहा कि यह घर तो मेरा है| खरगोश नेकहा मेंयहाँ कई दिनों सेरह रहा हूँ इस लिए यह घर मेरा है|चिड़िया जबतक उड़नेवाली नहीं होती तबतक ही घोंसलेमेंरहती है| चिड़िया नहींमानी| खरगोश भी नहीं माना|दोनों खूब जोर जोर सेबोलरहे थे|आखीर में खरगोश नेकहा हमेंकिसी बुद्धिमान के पास जाकर अपना फैसला करवाना चाहिए|जिस केहक़ मेंफैसला होगा वह इसमेंरहेगा ,
दूसरे को जाना पड़ेगा| इस बात को चिड़िया भी मान गई| इन की इस लड़ाई को एक बिल्ली नेभी सुन लिया था|बिल्ली फटा फट एक माला हाथ में लेकर जोर जोर सेरामराम रटनेलग गई|जैसे ही खरगोश की नज़र उस पर पड़ी तो खरगोश नेकहा वह देखो वह बिल्ली रामरामरट रहींहै उसी से फैसला करवा लेतेहै|चिड़िया नेकहा यह हमारी पुरानी दुश्मन हैइस लिएइस से दूरी बना कर ही बात करनी होगी|चिड़िया नेदूर से ही आवाज देकर कहा महाराज हमारा एक फैसला करना है|बिल्ली नेआँख खोलतेकान पर हाथ रख कर कहा क्या कहा जरा नजदीक आकर जोर से बोलो|चिड़िया नेजोर सेकहा हमारा एक फैसला करना हैजिस की जीत होगी उसको छोड़दूसरेको तुमखा लेना|बिल्ली ने कहा छि:,छि: तुमयह कैसी बातें कर रही हो|मेंनेतो शिकार करना कब का छोड़ दिया है| तुमनिडर हो कर नजदीक आकर मुझेसबबताओ मेंफैसला कर दूंगी | खरगोश को उसकी बात पर भरोसा हो गया| वह बिल्ली के नजदीक गया तो बिल्ली बोली और नजदीक आओ मेरेकानमेंसारी बात बताओ|खरगोश नेउसकेकान में सभी कहानी बतादी| चिड़िया भी यह देख कर बिल्ली केपास पहुँच गई|मौका देखतेही बिल्ली नेझपटा मार कर दोनों को मार दिया और खा गई|पेट भर जानेकेबादबिल्ली खुद घोंसलेमेंगई और सोगई| इसलिए कभी भी अपनेदुश्मन पर विश्वास नहींकरना चाहिए|
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